लखनऊ: चारबाग बस स्टेशन पर करीब 18 हजार यात्री गड्ढों से रोजाना गुजरने को मजबूर

लखनऊ। राज्य सड़क परिवहन निगम की ओर संचालित चारबाग बस अड्डे पर रोजाना 15 से 18 हजार यात्री गढ्ढों से गुजरने को बाध्य हैं। इस बस स्टेशन से रोजाना 500 बसों से करीब 18 हजार यात्री करते हैं सफर लेकिन यात्री सुविधा बेहाल है। यहां से प्रतिदिन 15 शहरों के लिए रोडवेज बसें संचालित होती है। गड्ढे में यात्रियों के गिरने व चोटिल होने के बाद भी नहीं रोडवेज के अधिकारी चेत नहीं रहे हैं। अधिकारियों के लापरवाही का आलम यह है कि मुख्य गेट की मरम्मत कार्य कई महीनों से लटका पड़ा है।

बस स्टेशन का हाल बेहाल है। आलम यह है कि बस अड्डे आने वाले यात्री ठोकर खाकर बस पकड़ने को मजबूर है। मुख्य गेट पर बड़े-बड़े गड्ढे हैं। इस गड्ढे से गुजरकर यात्री बस पकड़ने पहुंच रहे हैं। यही नहीं इसी गड्ढे से अधिकारी और कर्मचारी भी आते हैं बावजूद अधिकारियों की लापरवाही से वर्षो से गड्ढे भरे नहीं जा सके।

मौके पर पड़ताल करने पर पता चला कि ​अधिकारियों की आपसी लापरवाही से मुख्य गेट की मरम्मत का कार्य लटका पड़ा है। अधिकारी चारबाग बस अड्डे के मुख्य सड़क की मरम्मत के लिए कोई प्रयास ही नहीं किया। सुधार के लिए सिर्फ एक दूसरे को मौखित आदेश देते रहे। यही वजह है कि वर्षो से चले आ रहे गड्ढे आज तक भरे नहीं जा सके। यात्री गड्ढे में गिरकर चोटिल हो रहे है। बावजूद अफसरों की लापरवाही यात्रियों पर भारी पड़ रही है।

बस अड्डे के मुख्य गेट पर सड़के टूटी हैं। बारिश के चलते बड़े-बड़े गड्ढे हो गए हैं। इन गड्ढों को भरने के लिए दिशा निर्देश दिए गए हैं। जल्द ही सड़क और गड्ढों को भरकर दुरूस्त कराया जाएगा। ताकि यात्रियों का आवागमन आसान हो सके…काशी प्रसाद एआरएम, उपनगरीय डिपो>

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