श्री बालाजी हनुमान मंदिर में आयोजित हुआ रात्रि जागरण
माता के भजनों पर झूमे भक्तगण, कलाकारों की सुंदर प्रस्तुति ने भक्तों का मन मोहा
उन्नाव। रविवार को सिविल लाइन स्थित श्री बाला जी हनुमान मंदिर में रात्रि जागरण का आयोजन किया गया। मंदिर महंत गोपाल कृष्ण त्रिपाठी ने जागरण का शुभारंभ कैला माता की ज्योति जलाकर किया। भक्तों ने मंदिर परिसर में माता की ज्योत का गगनभेदी जयकारा लगाते हुए मां शेरावाली को समर्पित कर जागरण कार्यक्रम का आगाज किया। कलाकारों ने मां की वंदना करते हुए भक्ति संगीत से रात भर लोगों को सराबोर किया। जागरण सुनने के लिए पहुंचे लोगों ने माता रानी के लिए चुनरी, नारियल, मिठाई व पूजन सामग्री भेट की।
जागरण सुनने के लिए भारी संख्या में महिला व पुरुष पहुंचे और रात भर माता की भक्ति गीत सुनकर आनंद लिया। महंत गोपाल कृष्ण त्रिपाठी ने ओ जंगल के राजा, मा कैला चामुंडा, माँ मुरादे पूरी करदे, हर मुश्किल का हल होगा आदि कई भजन प्रस्तुत कर मंदिर भक्तों को भक्ति सागर में डुबो दिया। ढोलक वादन में जवाबी कीर्तन के सुप्रसिद्ध ढोलक वादक सचिन पांडेय ने अपनी ढोलक से सभी को थिरकने पर मजबूर कर दिया। जागरण समाप्ति पर माता की आरती कर भक्तों में हलवा पूड़ी चना का प्रसाद भक्तों में वितरित किया गया।

मंदिर महंत ने रात्रि जागरण महत्व पर डाला प्रकाश
मातारानी के जागरण में तीन देवी और देवता की पूजा की जाती है और वे तीन देवी देवता हैं माता सरस्वती, निंद्रा माता एवं हनुमान जी मां सरस्वती को ज्ञान, साहित्य, संगीत और कला की देवीस्वरुप पूजा जाता है. माता सरस्वती का सम्बन्ध बुद्धि से है जो इन्सान को ज्ञानी बनाती है। सरस्वती के आलावा मां निंद्रा देवी की पूजा करना भी अनिवार्य है। किदवंती है कि जो लोग निंद्रा पर विजय पा लेते हैं उसे ही मां सरस्वती का आशीर्वाद प्राप्त होता है। जागरण में बजरंगबली का पूजन भी अनिवार्य है। इनकी पूजन के बिना जागरण अपूर्ण माना जायेगा। जागरण में तारावती की कथा सुनना अनिवार्य है, रात भर जागने के बाद सूर्योदय से पहले तारा रानी की कथा कहना व सुनना अनिवार्य है तभी जागरण पूर्ण माना जायेगा।
तमाम भक्तगण जागरण में हुये शामिल
रात्रि जागरण में प्रमुख रूप से अवनींद्र पांडेय, अंशुल पांडेय, गुन्नू पांडेय, सचिन पांडेय, सूरज शुक्ला, शिवा शुक्ला, देव शरण पाल, शिव शंकर प्रजापति, श्याम बहादुर प्रजापति, नरेश यादव, कवि, शिव कुमार पाल, सुधीर पाल, बबिता, बेबी, शेष कुमार, शिव कुमार तिवारी, मयंक तिवारी, किरण, मीना, ज्योति, अवधेश, राम, श्याम, घनश्याम, बुद्धि लाल, शिवानी, कोमल, आँचल आदि भक्तगण मौजूद रहे।



