India for Humanity- इंडिया फॉर ह्यूमैनिटीः मोज़ाम्बिक में 370 दिव्यांगों को लगाए गए कृत्रिम अंग
India for Humanity- अफ्रीकी देश मोज़ाम्बिक में दिव्यांग लोगों के जीवन में नई उम्मीद जगाने की दिशा में भारत की विख्यात ‘जयपुर फुट’ पहल एक बार फिर महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। नामपुला शहर के सेंट्रल हॉस्पिटल में लगे हेल्थ कैंप से अब तक 370 लोगों को नया जीवन मिल चुका है।
इस 60 दिवसीय जयपुर फुट लिम्ब फिटमेंट कैंप के माध्यम से करीब 600 से अधिक दिव्यांग व्यक्तियों को जयपुर फुट कृत्रिम अंगों से लाभ मिलने की उम्मीद है। 24 जनवरी तक चलने वाला यह शिविर भारत सरकार के विदेश मंत्रालय द्वारा ‘इंडिया फॉर ह्यूमैनिटी’ कार्यक्रम के अंतर्गत समर्थित है, जिसका संचालन भगवान महावीर विकलांग सहायता समिति (बीएमवीएसएस) द्वारा किया जा रहा है। इसके अलावा यह पहल जयपुर, हांगकांग, थाईलैंड, केन्या और मोज़ाम्बिक के स्पॉन्सर्स के सहयोग का भी नतीजा है, जो इस मानवीय मिशन को सपोर्ट करने के लिए एक साथ आए हैं।
मोज़ाम्बिक स्थित भारतीय उच्चायोग ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा नामपुला में जयपुर फुट कैंप का आयोजन हो रहा है। अब तक, हमने 370 लाभार्थियों को मुफ्त आर्टिफिशियल लिंब दिए हैं। कैंप को स्पॉन्सर करने के लिए एग्रीनोर मोज लिमिटाडा और मर्काडो ओजेएम मोजाम्बिक को धन्यवाद।
विदेश मंत्रालय के सहयोग से बीएमवीएसएस द्वारा ग्लोबल साउथ (गरीब एवं विकासशील देश) के विभिन्न देशों में निरंतर ऐसे कैंप लगाए जा रहे हैं। हाल ही में म्यांमार के यांगून में आयोजित कैंप का म्यांमार के 650 से अधिक दिव्यांगों ने लाभ उठाया था, जिनमें आम नागरिकों के साथ ही सैन्यकर्मी भी शामिल थे। बता दें कि ‘जयपुर फुट’ एक प्रकार का कृत्रिम पैर है, जिसे खासतौर पर उन लोगों के लिए विकसित किया गया है, जिनके पैर किसी दुर्घटना, बीमारी या जन्मजात कारणों से नहीं हैं। स्थानीय सामग्री से निर्मित यह कृत्रिम पैर कम लागत और बहुउद्देशीय उपयोग के कारण दुनिया भर में विख्यात है। इसे बनाने वाली समिति बीएमवीएसएस को संयुक्त राष्ट्र की आर्थिक और सामाजिक परिषद में विशेष परामर्शदाता का दर्जा प्राप्त है। समिति ने हाल के वर्षों में विदेश मंत्रालय के सहयोग से विभिन्न देशों में 100 से अधिक विशेष शिविर आयोजित किए हैं और 44 देशों के 52 हजार से अधिक दिव्यांगों का पुनर्वास किया है।
(रिपोर्ट. शाश्वत तिवारी)



