केंद्र ने SC से कहा, बिना एसपी की मंजूरी के दर्ज नहीं होगी FIR

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट (Supreme court) में बुधवार को भी राजद्रोह कानून (Sedition Law) पर सुनवाई की जा रही है. हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने कानून पर रोक नहीं लगाया है. वहीं याचिकाकर्ताओं की मांग है कि इस कानून पर तुरंत ही रोक लगाई जाए.

राजद्रोह कानून (Sediton Law) की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने के मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है. इस दौरान केंद्र सरकार का पक्ष रखते हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कोर्ट को बताया कि हमने राज्य सरकारों को जारी किए जाने वाले निर्देश का मसौदा तैयार किया है. उसके मुताबिक राज्य सरकारों को स्पष्ट निर्देश होगा कि बिना जिला पुलिस कप्तान यानी एसपी या उससे ऊंचे स्तर के अधिकारी की मंजूरी के राजद्रोह की धाराओं में एफआईआर दर्ज नहीं की जाएगी.

इस दलील के साथ सॉलिसिटर जनरल ने कोर्ट से कहा कि फिलहाल इस कानून पर रोक न लगाई जाए. सॉलिसिटर जनरल ने कोर्ट को ये भी बताया पुलिस अधिकारी राजद्रोह के प्रावधानों के तहत एफआईआर दर्ज करने के समर्थन में पर्याप्त कारण भी बताएंगे. याचिकाकर्ताओं की तरफ से दलील रखते हुए वकील कपिल सिब्बल ने कोर्ट से मांग की है कि राजद्रोह कानून पर तत्काल रोक लगाने की जरूरत है.

इससे पहले मंगलवार की सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ताओं ने कोर्ट से कहा था कि अगर सुप्रीम कोर्ट कानून की वैधता के मसले को आगे विचार के लिए बड़ी बेंच को भेजता है तो कोर्ट इस बीच कानून के अमल पर रोक लगा दे.

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