हनुमान चालीसा: महाराष्ट्र के गृह मंत्री की बैठक में शामिल नहीं होंगे फडणवीस, बोले- राज्य में है अराजकता का माहौल

मुंबई। हनुमान चालीसा पाठ को लेकर महाराष्ट्र की सियासत गर्मा गयी है। इसी बीच पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर उद्धव सरकार पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में अराजकता का माहौल बना हुआ है। मॉब लिंचिंग की कोशिश होती है। ऐसे में यह साफ दिखता है कि सरकार विरोधियों को कुचलना चाहती है और जान से मारना चाहती है।  उन्होंने कहा कि हम गृह मंत्री की बैठक में जाकर क्या करेंगे क्योंकि बैठक में मुख्यमंत्री तो मौजूद नहीं रहेंगे और मुख्यमंत्री के इशारे पर यह सब हो रहा है। ऐसे में बैठक से क्या निकलेगा ? इतना ही नहीं एक निर्दलीय विधायक और निर्दलीय सांसद इतना ही ऐलान करते हैं कि मुख्यमंत्री आवास के बाहर हनुमान चालीसा का पाठ करेंगे। भाजपा नेता ने कहा कि अगर यह देशद्रोह है तो हम सब हनुमान चालीसा का पाठ करेंगे और सरकार में हिम्मत है तो हम पर राजद्रोह का मुकदमा दर्ज करके दिखाएं। यह बात यहीं पर नहीं खत्म होती है उन्हें गिरफ्तार तो किया ही गया बल्कि उन्हें नीची जाति का बताकर उनके साथ दुर्व्यवहार किया गया। उन्होंने कहा कि एक महिला सांसद को वॉशरूम जाने की भी इजाजत नहीं दी गई। हमने बदले की भावना की कार्रवाई इससे पहले नहीं देखी। भाजपा नेता ने कहा कि महाराष्ट्र में ऐसे अहंकारी लोग सत्ता में हैं, जो अपने अहंकार को लेकर लोकतंत्र को भूलकर, पैरों तले दबाकर और कुचलकर अपना राज चलाना चाहते हैं। ऐसे लोगों को मैं चेतावनी देना चाहता हूं कि हम संघर्ष करेंगे। हम डरते नहीं हैं। अगर आप हमारी जान पर हमला करेंगे फिर भी हम भ्रष्टाचार को सामने लाएंगे। आप पुलिस के साथ मिलकर ऐसा कर रहे हैं।  उन्होंने कहा कि हम लोकतंत्र पर विश्वास करते है इसलिए हम चुप हैं। मगर पुलिस भी सरकार के साथ मिलकर हमारे ऊपर हमला करेगी तो यह समझ लेना चाहिए कि केरल और बंगाल ने हमारे सैकड़ों लोग मार दिए फिर भी हम चुप नहीं बैठे और यह तो छत्रपति शिवाजी महाराज की भूमि है, यहां हमारी ताकत भी उतनी ही है। सरकार द्वारा दुर्व्यवहार के कारण हम बैठक में नहीं जाएंगे। इसी बीच भाजपा नेता ने कहा कि लाउडस्पीकर के मामले में सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट के आदेशों का पालन होना चाहिए। पुराने जमाने में हम भी देवी के नवरात्रि और गणेश चतुर्थी में रातभर जगराता करते थे लेकिन सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद हमने रात में 10 बजे के बाद अपने कार्यक्रम बंद कर दिए। अगर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन हिंदू समाज करता है तो सभी को इसका पालन करना चाहिए।

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