डेंगू बुखार से ज्यादा गंभीर डेंगू अधिक खतरनाक–डॉ. एन डी सिंह

कमला नेहरू इंस्टीट्यूट ऑफ चाइल्ड एजुकेशन,करौंदिया (विवेक नगर) सुल्तानपुर के प्रधानाचार्य डॉ.एन.डी.सिंह ने विद्यार्थियों तथा अध्यापक- अध्यापिकाओं को डेंगू के उपचार तथा सावधानियों के बारे में प्रार्थना सभा में बताया। डेंगू विषाणु से होने वाली बीमारी है जो कि एडीज मच्छर के काटने से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति को फैलती है।

डेंगू को दो भागों में बांट सकते हैं -डेंगू बुखार और गंभीर डेंगू। डेंगू बुखार में आमतौर पर मरीज को तेज बुखार होता है तथा सिर,आंखों,जोड़ो व शरीर में दर्द होता है,जी मिचलाता है,उल्टी आती है और शरीर पर चकत्ते पड़ जाते हैं,जबकि गंभीर डेंगू में लगातार और ज्यादा उल्टी हो सकती है,पेट में तेज दर्द हो सकता है,बहुत घबराहट होती है, अचानक बहुत कमजोरी लगने लगती है तथा चक्कर आने लगते हैं,पेशाब कम हो जाती है,दिल की धड़कन तेज हो जाती है,शरीर में कहीं-कहीं से खून आने लगता है जैसे खांसी के साथ कफ में,नाक से,पेशाब में,लैट्रिन में,उल्टी में तथा त्वचा के नीचे चोट के निशान की तरह चकत्ते बन जाते हैं।

अधिकतर लोगों को डेंगू बुखार ही होता है और यह चिकित्सक की राय से दवाई लेने पर घर पर ही ठीक हो जाता है।इसके लिए अस्पताल में भर्ती होने की जरूरत नहीं होती।बहुत कम लोगों को गंभीर डेंगू होता है, लेकिन यह जानलेवा हो सकता है,इसलिए गंभीर डेंगू के कोई भी लक्षण होने पर बिना देर किए तुरंत अस्पताल में भर्ती हो जाना चाहिए।ध्यान देने की और सावधानी बरतने की बात यह है कि डेंगू की गंभीरता तेज बुखार में नहीं होती बल्कि जब बुखार कम होने लगता है या उतर जाता है तथा मरीज को ऐसा लगता है कि अब मैं ठीक हो रहा हूं तब अचानक गंभीर डेंगू के लक्षण दिखाई देने लगते हैं।इस स्थिति में जितना जल्दी हो सके अस्पताल में भर्ती होकर इलाज कराना चाहिए।यह स्थिति गंभीर होती है और इसमें देर बिलकुल नहीं करनी चाहिए क्योंकि उस समय हर मिनट महत्वपूर्ण होता है। डेंगू से बचाव के लिए पूरी बांह के कपड़े पहनें,पैंट पहनें, मच्छरदानी लगायें,घर में जाली के दरवाजे लगायें,मॉस्किटो रेपेलेंट नाम की दवाई का लेप लगाएं।अपने घर के आसपास कहीं पर भी पानी इकट्ठा न होने दें और यदि कहीं पानी इकट्ठा हो रहा हो तो उसमें मच्छर मारने की और लार्वा मारने की दवाई डालें।अपने घर तथा उसके आसपास विशेष साफ-सफाई का ध्यान रखें। उक्त अवसर पर तन्वी गोयल,रेनू सिंह,अंकित सोनी,जगराम भार्गव, अस्मित गुप्ता, सिद्धांत सिंह, सौरभ मिश्रा,जया मिश्रा, विनीता मिश्रा, नेहा सिंह, अर्चना द्विवेदी, अवंतिका मिश्रा, शीलू गुप्ता, गया प्रसाद शर्मा,शैलेंद्र उपाध्याय आदि अध्यापक-अध्यापिकाएं मौजूद रहे।

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