उत्तराखंड : बाबा रामदेव के विरोध में उतरे रसिक महाराज, शास्त्रार्थ के लिए दी चुनौती

हरिद्वार। बाबा राम देव के विरोध में ज्योतिष से जुड़े संत भी उतर आएँ है, ज्योतिष को लेकर बाबा रामदेव के बयान का ज्योतिष से जुड़े संतों ने कड़ा विरोध किया है। इसे लेकर उन्होंने बाबा रामदेव को शास्त्रार्थ की चुनौती तक दे डाली। इससे पहले बाबा रामदेव का डाक्टरों से भी विवाद गहराता जा रहा है। ज्योतिष को लेकर बाबा रामदेव के बयान का ज्योतिष से जुड़े संतों ने कड़ा विरोध किया है। इसे लेकर उन्होंने बाबा रामदेव को शास्त्रार्थ की चुनौती तक दे डाली। कोरोनाकाल में एकांतवास पर चल रहे देहरादून के रायवाला स्थित नृसिंह पीठाधीश्वर स्वामी रसिक महाराज ने बाबा रामदेव के बयान की कड़ी निंदा की।

उन्होंने कहा कि बाबा रामदेव को बयान देने से पहले ज्योतिष शास्त्र का अध्ययन कर लेना चाहिए। इस तरह की गलत बयानबाजी नहीं करनी चाहिए। ज्योतिष शास्त्र में 2020 में विषाणु के संक्रमण का स्पष्ट वर्णन किया गया है। उन्होंने बाबा रामदेव को शास्त्रार्थ की चुनौती दे डाली।
स्वामी रसिक महाराज ने कहा कि रामदेव का ज्योतिष पर उंगली उठाना पूरी तरह से गलत है। वेदों और उपनिषदों ने तो बहुत पहले ही बता दिया था कि कलिकाल में विषाणु जनजीवन को प्रभावित करेगा। मुहूर्त शास्त्र में वर्णित है। मुहूर्त की आलोचना वेद की आलोचना है।

ज्योतिषशास्त्र भारतीय जनमानस की आस्था का मूलाधार भी है और आस्था को आहत करना समाज में उच्चस्तरीय व्यक्तियों को शोभा नहीं देता। अतः ज्योतिष के विषय में बाबा रामदेव द्वारा दिये गये वक्तव्य की मैं व्यक्तिगत रूप से निन्दा करता हूँ। उन्होंने कहा कि ये विषय महत्वपूर्ण नहीं है कि-बाबा रामदेव जी के उत्पाद घटिया हैं या बढ़िया, यदि बढ़िया होंगे तो मांग और खपत भी खूब होगी और स्वतःबाबा जी का काम प्रगति करेगा। यदि उत्पाद घटिया होंगे तो जनता वहिष्कार करेगी। इस चर्चा का महत्वपूर्ण बिंदु होना चाहिए बाबा जी का ज्योतिषशास्त्र पर दिया गया बयान।

उन्होंने कहा कि हमारे विद्वान ऋषि महर्षियों ने ज्योतिष को वेदपुरुष (शास्त्र) का नेत्र कहा है। वेदमंत्रो का उच्चारण स्वयं बाबा जी भी करते हैं। क्या बाबा जी ये घोषणा करेंगे कि वेद या वेद पुरूष अन्धा है? अगर नहीं, तो ज्योतिष के प्रति दिया गया उनका बयान निन्दनीय है। प्रश्न ये नहीं है कि ज्योतिष विज्ञान है या नहीं है। न ही बाबा जी ये सिद्ध करने की क्षमता रखते हैं। क्योंकि उनका ज्योतिषीय ज्ञान और अध्ययन इस योग्य नहीं है। कई वैज्ञानिकों और विज्ञान से सम्बंधित संस्थाओं ने ज्योतिष को पूर्ण विज्ञान माना है। ज्ञातव्य हो कि योग गुरु बाबा रामदेव ने बयान दिया था कि ज्योतिष विद्या ने क्यों नहीं कोरोना काल के बारे में पहले जानकारी दी। सारे मुहूर्त भगवान ने बना रखे हैं।
परिचय- नृसिंह पीठाधीश्वर अनंत श्री विभूषित स्वामी रसिक महाराज ( प्रवक्ता अठारह पुराण, वेद वेदांत)

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