विकास दुबे मामला:जांच के लिए बना सकते हैं कमेटी SC ,का यूपी सरकार को नोटिस
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह गैंगस्टरविकास दुबे और उनके पांच सहयोगियों के साथ-साथ बिकरु गांव में तीन जुलाई को आठ पुलिसकर्मियों की हत्या की जांच के लिए एक सेवानिवृत्त सुप्रीम कोर्ट जज की अध्यक्षता में समिति बनाने की सोच रही है.
विकास दुबे मामले में सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार को नोटिस जारी किया है
नई दिल्ली: कानपुर के गैंगस्टरविकास दुबे एनकाउंटर मामले में कोर्ट की निगरानी में CBI/SIT जांच की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को सुनवाई की. CJI एसए बोबडे के साथ जस्टिस आर सुभाष रेड्डी और जस्टिस एएस बोपन्ना ने यह सुनवाई की. मुंबई के वकील घनश्याम उपाध्याय और वकील अनूप अवस्थी की ओर से दाखिल याचिका में मामले में यूपी पुलिस (UP Police) की भूमिका की जांच की मांग की गई है. मामले में सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह गैंगस्टरविकास दुबे और उनके पांच सहयोगियों के साथ-साथ बिकरु गांव में तीन जुलाई को आठ पुलिसकर्मियों की हत्या की जांच के लिए एक सेवानिवृत्त सुप्रीम कोर्ट जज की अध्यक्षता में समिति बनाने की सोच रही है. इसके साथ ही SC ने यूपी सरकार को नोटिस जारी किया. मामले की अगली सुनवाई सोमवार को होगी. कोर्ट ने कहा कि यूपी सरकार इस मामले में गुरुवार तक जवाब दाखिल करे.
CJI एसए बोबडे ने कहा कि हैदराबाद मामले में जिस तरह से कोर्ट ने SC के रिटायर्ड जज की निगरानी में जांच का आदेश दिया था, उसी तर्ज पर हम इस मामले में भी सोच रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट ने इशारा क्या कि वह मामले की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज की निगरानी में फैक्ट-फाइंडिंग कमेटी गठित करेगा. SC ने इस साल की शुरुआत में हैदराबाद एनकाउंटर मामले में अपने आदेश का हवाला दिया. CJI ने कहा-हम ऐसा कुछ कर सकते हैं जैसे हमने वहां किया. सॉलिसिटर जनरल (SG) तुषार मेहता ने SC से कहा यूपी सरकार का कहना है कि राज्य द्वारा सब कुछ किया जा रहा है.यह कोर्ट की न्यायिक भावना को संतुष्ट करेगा.
यह याचिका एनकाउंटर से पहली रात दायर की गई है उसमें विकास दुबे की भी एनकाउंटर किये जाने की आशंका जाहिर की गई थी. घनश्याम उपाध्याय की याचिका में कहा गया है कि मीडिया रिपोर्ट से लग रहा है कि विकास दुबे ने महाकाल मंदिर में गार्ड को खुद ही जानकारी दी. उसने मध्य प्रदेश पुलिस को खुद ही गिरफ्तारी दी ताकि एनकाउंटर से बच सके. याचिका में आशंका जताई गई थी कि यूपी पुलिस विकास का एनकाउंटर कर सकती है. दूसरी ओर, दिल्ली के वकील अनूप प्रकाश अवस्थी द्वारा दायर याचिका में कहा गया है कि दुबे और उनके सहयोगियों के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई पुलिस-अपराधी और नेताओं के गठजोड़ के महत्वपूर्ण गवाह को खत्म करने के लिए की गई. इसमें कहा गया है कि यूपी फर्जी मुठभेड़ों के लिए कुख्यात है. विकास दुबे 8 पुलिसकर्मियों की हत्या के बाद गायब हो गया, उसके घर को ध्वस्त कर सभी साक्ष्य नष्ट कर दिए गए थे. याचिका में कहा गया है कि दुबे द्वारा 8 पुलिसकर्मियों की हत्या में इस्तेमाल किए गए अत्याधुनिक हथियारों की जांच की जानी चाहिए कि उन्हें ये हथियार कैसे मिले?